Health Tips :सावन का महीना शुरू हो गया है। धार्मिक दृष्टि से यह समय बहुत शुभ माना जाता है। इसे चातुर्मास भी कहा जाता है। इन चार महीनों में भक्तजन साधन, आराधना में ही अपना समय व्यतीत करते हैं।
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इतना ही नहीं आध्यात्मिक शिक्षा के लिए यह समय सबसे उत्तम श्रेणी में आता है। इन चार माह के दौरान अधिकतम लोग लहसन, प्याज, आलू और हरी सब्जियों को त्याग कर देते हैं। यह सेहत और धार्मिक दोनों दृष्टि से शुभ माना जाता है। लेकिन फलाहार के दौरान लोग नमक का भी त्याग कर देते हैं जो सही नहीं है। आइए जानते हैं…
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दरअसल, नमक में सोडियम होता है। यह सबसे महत्वपूर्ण घटक है। साथ ही इलेक्ट्रोलाइट है जो सेहत के लिए जरूरी है। नमक का अधिक सेवन करना हाई ब्लड प्रेशर का कारण बनता है। वहीं कम नमक खाने पर या नहीं खाने पर आपको कमजोरी महसूस होगी।
तो नमक नहीं खाने से क्या होगा –
– अगर नमक नहीं खाते हैं तो आपके ब्लड शुगर लेवल में उतार -चढ़ाव होगा। नमक नहीं खाने से ब्लड प्रेशर लो भी हो सकता है। और इसके बाद आपको कमजोरी भी महसूस होने लगेगी।
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– शोध में सामने आया है कि कम नमक का सेवन करने से दिल के दौरे या हार्ट स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है। एनसीबीआई द्वारा अध्ययन में पाया गया कि 2,300 मिलीग्राम से भी कम नमक का सेवन खतरा है। इसलिए सीमित मात्रा में नमक का सेवन करना चाहिए।
– पहली बात अगर आप डायबिटीज के मरीज है तो व्रत रखना थोड़ा जोखिम भरा है। नमक की कमी होने पर हार्ट अटैक का खतरा भी बढ़ जाता है। टाइप 1 और टाइप 2 डायबिटीज वालों को सीमित मात्रा में सोडियम का सेवन जरूर करना चाहिए। हालांकि अभी और भी अध्ययन जारी है।
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