Planet effect on taste Buds: स्वाद और ग्रहों (Planet effect) का कनेक्शन जानने के पहले ज्योतिष और आयुर्वेद के दृष्टिकोण (Planet effect) से वात, पित्त और कफ के बारे में भी जानना चाहिए। इन तीनों को त्रिदोष कहा जाता है जिसका लोगों पर प्रत्यक्ष प्रभाव पड़ता है और इनका स्वास्थ्य से सीधा संबंध होता है। इसके साथ ही पंच तत्वों और ऋतुओं के बारे में भी समझना जरूरी है। Planet effect on taste
Planet effect on taste Buds

आयुर्वेद के अनुसार छह प्रकार के स्वाद होते हैं। हर स्वाद में पांच में से दो तत्वों का मिश्रण होता है जिससे उस स्वाद की ऊर्जा एवं विशेषता तय की जा सकती है। इसी आधार पर यह समझा जा सकता है कि कौन-सा स्वाद किस त्रिदोष को बढ़ाएगा या घटाएगा। ग्रहों का आपके खाने के स्वाद से गहरा कनेक्शन है। किस ग्रह के प्रभाव से आपको क्या स्वाद आता है, आइए जानते हैं।
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ग्रहों से स्वाद का कनेक्शन
सूर्य- मुख्यतः पित्त एवं कुछ अंश वात का रखता है। यह अग्नि तत्व हैं। ऋतु ग्रीष्म और स्वाद कड़वा होता है।
चन्द्रमा- मुख्यतः वात एवं कुछ अंश कफ का रखता है। इसका स्वाद नमकीन होता है। इसका तत्व जल है और ऋतु वर्षा है।
मंगल- पित्त प्रधान होता है इसका स्वाद तीखा होता है और यह अग्नि तत्व है। इसकी ऋतु ग्रीष्म है।

बुध- वात, पित्त एवं कफ त्रदोषों का संगम है। स्वाद इसका मिलाजुला होता है। पृथ्वी तत्व है और ऋतु शरद है।
बृहस्पति- यह मुख्यतः कफ एवं कुछ अंश में वात का प्रभाव रखता है और स्वाद मीठा होता है। इसका तत्व आकाश है और ऋतु हेमंत है।
शुक्र- मुख्यतः वात परन्तु कुछ अंश में कफ प्रधान और स्वाद खट्टा होता है। तत्व जल और ऋतु वसंत होती है।
शनि- मुख्यतः वात एवं कुछ अंश में कफ होता है और स्वाद कसैला, तत्व वायु, ऋतु शिशिर होती है।
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ग्रह-मौसम के अनुसार करें भोजन
ग्रह एवं स्वाद, तत्व एवं ऋतु के संबंध को जानने के बाद स्वस्थ रहने के लिए इनके अनुकूल भोजन ग्रहण करना ही स्वास्थ्यवर्धक होगा। यदि शरीर में वात दोष हो तो मीठा, नमकीन और खट्टे खाद्य पदार्थों का सेवन लाभदायक होता है क्योंकि इन वस्तुओं के सेवन से वात दोष कम होता है। यदि शरीर में कफ की अधिकता हो तो कड़वे स्वाद की खाद्य वस्तुओं का सेवन लाभदायक रहता है।
यदि पित्त अधिक हो तो नमकीन स्वाद की खाद्य वस्तुओं का कम से कम सेवन करना चाहिए, साथ ही खट्टी और तीखे स्वाद की वस्तुओं को भी नहीं खाना चाहिए। पित्त को नियंत्रण में करने के लिए ठंडक देने वाले मसाले जैसे हल्दी, धनिया आदि का प्रयोग करना चाहिए।

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